भय को अपने अंदर आने न दें

भय को अपने अंदर आने न दें

यहोवा ने अब्राम से कहा, अपने देश, और अपनी जन्मभूमि, और अपने पिता के घर को छोड़कर उस देश में चला जा जो मैं तुझे दिखाऊंगा। – उत्पत्ति 12:1

बाइबल, एक अब्राम नाम के व्यक्ति के बारे में बताती है जिसने अपने व्यक्तिगत भय के बावजूद परमेश्वर पर भरोसा किया था।

आप कैसा महसूस करेंगे अगर परमेश्वर आपके घर, आपके परिवार और सब कुछ जो जाना पहचाना और आरामदायक है को छोड़ने और एक अज्ञात मंजिल की तरफ बढ़ने के लिए कहता है? भय से भरे हुए? यही परमेश्वर ने अब्राम को करने के लिए कहा था – और इसने उसे भयभीत किया। पर परमेश्वर का वचन उसके लिए था, “मत डर।”

बहुत बार हम सोचते है कि हमें कुछ करने के लिए तब तक इंतजार करना चाहिए जब तक हमें बिल्कुल भी डर ना लगे, पर अगर हम वैसा करते है तो हम संभावी तौर पर परमेश्वर के लिए, अन्यों के लिए, या यहां तक कि हमारे अपने लिए बहुत कम ही प्राप्त करेंगे। अब्राम को विश्वास में और परमेश्वर के लिए आज्ञाकारिता में, अपने भय के बावजूद कदम बढ़ाना पड़ा था।

यदि अब्राम ने डर के आगे घुटने टेक दिए होते, तो उसने कभी भी अपने भाग्य को पूरा नहीं किया होता, जिसके लिए परमेश्वर ने उसे रचा था – राष्ट्रों का पिता बनने के लिए।
भय से भर जाना आपके जीवन के लिए परमेश्वर की उत्तम योजनाओं को बदलता है, इसलिए जो वो चाहता कि आप करें वो ही करें…चाहे आप इसे डरते हुए ही क्यों ना करें! अब्राम के समान, आप देखेंगे कि ईनाम बड़ा है।


आरंभक प्रार्थना

परमेश्वर, आप अब्राम के साथ वफादार थे जब उसने भय के बावजूद आपका आज्ञा पालन किया, इसलिए मैं भी भय का सामना करते और जो आप मुझे करने के लिए कहते वो करने का निर्णय करती हूँ।

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